हैं सबसे मधुर वो गीत - Hain Sabse Madhur Wo Geet (Talat Mehmood, Patita)

Movie/Album: पतिता (1953)
Music By: शंकर जयकिशन
Lyrics By: शैलेन्द्र
Performed By: तलत महमूद

हैं सबसे मधुर वो गीत जिन्हें
हम दर्द के सुर में गाते हैं
जब हद से गुज़र जाती है खुशी
आँसू भी छलकते आते हैं
हैं सबसे मधुर...

काँटों में खिले हैं फूल हमारे
रंग भरे अरमानों के
नादान हैं जो इन काँटों से
दामन को बचाये जाते हैं
हैं सबसे मधुर...

जब ग़म का अन्धेरा घिर आये
समझो के सवेरा दूर नहीं
हर रात का है पैगाम यही
तारे भी यही दोहराते हैं
हैं सबसे मधुर...

पहलू में पराये दर्द बसा के
(तू) हँसना हँसाना सीख ज़रा
तूफ़ान से कह दे घिर के उठे
हम प्यार के दीप जलाते हैं
हैं सबसे मधुर...

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