सरफरोशी की तमन्ना - Sarfaroshi Ki Tamanna (The Legend Of Bhagat Singh)
Movie/Album: द लीजेंड ऑफ़ भगत सिंह (2002)
Music By: ए.आर.रहमान
Lyrics By: समीर
Performed By: सोनू निगम, हरिहरन
सोनू निगम, हरिहरन
सरफरोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में है
देखना है जोर कितना बाज़ू-ए-क़ातिल में है
वक़्त आने पे बता देंगे तुझे ऐ आसमां
क्या बताएँ हम जुनूनें शौक किस मंजिल में है
दूरियां उम्मीद की ना आज हमसे छूट जाए
मिलके देखा है जिन्हें वो सपने भी ना रूठ जाए
हौंसले वो हौंसले क्या जो सितम से टूट जाए
सरफरोशी की तमन्ना...
तेरे सोने रूप को हम इक नयी बहार देंगे
अपने ही लहू से तेरा रंग हम निखार देंगे
देश मेरे देश तुझपे ज़िन्दगी भी वार देंगे
सरफरोशी की तमन्ना...
खुशबू बन के महका करेंगे हम लहलहाती हर फसलों में
सांस बन के हम गुनगुनायेंगे आने वाली हर नस्लों में
आने वाली, आने वाली, नस्लों में
सरफरोशी की तमन्ना...
सोनू निगम
सरफरोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में है
देखना है जोर कितना बाज़ू-ए-क़ातिल में है
देख सकता है तो तू भी देख ले ऐ आसमां
हौंसला ये देख के कातिल बड़ी मुश्किल में है
अपने ही लहू से हम लिखेंगे अपनी दास्ताँ
ज़ालिमों से छीन लेंगे ये ज़मीं ये आसमां
सरफिरे जवान हम तो मौत से भी ना डरें
आज आये देश में ये क्यूँ गंवारा हम करें
मुल्क पे कुर्बान हो ये आरज़ू मेरे दिल में है
सरफरोशी की तमन्ना...
Music By: ए.आर.रहमान
Lyrics By: समीर
Performed By: सोनू निगम, हरिहरन
सोनू निगम, हरिहरन
सरफरोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में है
देखना है जोर कितना बाज़ू-ए-क़ातिल में है
वक़्त आने पे बता देंगे तुझे ऐ आसमां
क्या बताएँ हम जुनूनें शौक किस मंजिल में है
दूरियां उम्मीद की ना आज हमसे छूट जाए
मिलके देखा है जिन्हें वो सपने भी ना रूठ जाए
हौंसले वो हौंसले क्या जो सितम से टूट जाए
सरफरोशी की तमन्ना...
तेरे सोने रूप को हम इक नयी बहार देंगे
अपने ही लहू से तेरा रंग हम निखार देंगे
देश मेरे देश तुझपे ज़िन्दगी भी वार देंगे
सरफरोशी की तमन्ना...
खुशबू बन के महका करेंगे हम लहलहाती हर फसलों में
सांस बन के हम गुनगुनायेंगे आने वाली हर नस्लों में
आने वाली, आने वाली, नस्लों में
सरफरोशी की तमन्ना...
सोनू निगम
सरफरोशी की तमन्ना अब हमारे दिल में है
देखना है जोर कितना बाज़ू-ए-क़ातिल में है
देख सकता है तो तू भी देख ले ऐ आसमां
हौंसला ये देख के कातिल बड़ी मुश्किल में है
अपने ही लहू से हम लिखेंगे अपनी दास्ताँ
ज़ालिमों से छीन लेंगे ये ज़मीं ये आसमां
सरफिरे जवान हम तो मौत से भी ना डरें
आज आये देश में ये क्यूँ गंवारा हम करें
मुल्क पे कुर्बान हो ये आरज़ू मेरे दिल में है
सरफरोशी की तमन्ना...
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